Godda News:बाल श्रम रोकने के लिए जागरूकता रथ को दिखाई हरी झंडी
बाल श्रम रोकने के लिए जागरूकता रथ को दिखाई हरी झंडी
गोड्डा
अंतरराष्ट्रीय बाल श्रम निषेध दिवस पर स्वंय सेवी संगठन साथी, जिला बाल संरक्षण इकाई और श्रम विभाग गोड्डा के संयुक्त तत्वाधान में बाल श्रम रोकने के लिए जागरूकता रथ को बाल कल्याण समिति के अध्यक्ष विनय कुमार चौधरी,जिला कल्याण पदाधिकारी अविनाश कुमार, जिला समाज कल्याण पदाधिकारी, जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी रितेश कुमार एवं श्रम अधीक्षक ने समाहरणालय से हरी झंडी दिखाकर रवाना किया जो रैली कर रूप में पूरा शहर भ्रमण किया l
मौक़े पर बाल संरक्षण पदाधिकारी रितेश कुमार ने कहा कि बच्चों के पढ़ने और खेलने के समय अभिभावक काम में लगा देते है, जो गलत है। इसको रोकने के लिए समाज में जागरूकता कि आवश्यकता है।
इसी क्रम में जागरूकता रथ निकाली. गई है।
इन्होने कहा कि पिछले दिनों अभियान के तहत धावा दल द्वारा चार बाल श्रम करते बच्चो को मुक्त कराया गया है और नियोक्ता के ऊपर नियमानुसार कार्रवाई कि जा रही है l यह रथ शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्र में जाकर लोगों को बाल श्रम मुक्त गोड्डा कि निर्माण के लिए लोगों को जागरूक करेंगी l
श्रम अधीक्षक संजय आनन्द ने कहा कि यह पूरे महीने बाल श्रम रोकथाम का अभियान चल रहा है लेकिन आज विश्व बाल श्रम निषेध दिवस है। जागरूकता रैली साथी संस्था के सहयोग से निकाली गई है l
साथी के कार्यक्रम अधिकारी कालेश्वर मण्डल ने कहा कि साथी गोड्डा को बाल श्रम, बाल विवाह एवं बाल तस्करी मुक्त बनाने का अभियान चला रही है l
संस्था इस साल जून महीने को बाल श्रम के खिलाफ एक्शन मंथ के रूप में मना रहा है। इसके तहत पूरे महीने बच्चों को बाल श्रम और दासता के चंगुल से मुक्त कराने के लिए छापामार कार्रवाई की जाती है और बचाव अभियान चलाया जाता है। श्री मण्डल ने यह भी कहा कि आज हमारे देश में बाल श्रम उन्मूलन के लिए कई प्रभावी नीतियां और कड़े कानून हैं।
लेकिन जब तक इस बारे में लोगों के बीच जागरूकता नहीं होगी और पूरा समाज इसकी जिम्मेदारी लेकर अपना काम नहीं करेगा, तब तक यह एक चुनौती के रूप में बना रहेगा। हम सभी भारत को बाल श्रम मुक्त बनाने के साथ हर एक बच्चे को एक स्वस्थ, खुशहाल, सुरक्षित और आजाद बचपन देने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे है। इस प्रयास में निश्चित रूप से सफल होंगे।” आज यानी 12 जून को अंतरराष्ट्रीय बाल श्रम विरोधी दिवस के मौके पर साथी संस्था ने जिला प्रशासन और पुलिस की सहायता से चार बाल मजदूरों को मुक्त करवाया।
सभी बच्चे गोड्डा जिला से से हैं और इनकी उम्र दस से पंद्रह साल तक है।
अंतरराष्ट्रीय श्रम संगठन (आईएलओ) की रिपोर्ट- ‘बाल श्रम: वैश्विक अनुमान 2020, रूझान और आगे की राह’ के मुताबिक साल 2020 की शुरुआत में पूरी दुनिया में 16 करोड़ बच्चे बाल श्रम की चपेट में थे। इनमें 6.3 करोड़ लड़कियां और 9.7 करोड़ लड़के हैं. यानी दुनिया का हर 10 में से एक बच्चा मजदूरी करने पर मजबूर है।
बाल श्रम को लेकर भारत में भी स्थिति गंभीर बनी हुई है। आज रैली के साथ हस्ताक्षर अभियान भी चलाया गया l
मौके पर बाल कल्याण समिति के डॉ नीरज कुमार, संदीप दुबे, बाल संरक्षण इकाई से ओमप्रकाश गुप्ता, राजेंद्र, मोनू, साथी संस्था से बिभास चंद्र,हेमकांत मुर्मू, सुबोध कुमार, अनिमेष तिवारी, ब्रज किशोर, जोहन, मीनू, सुनीता, गायत्री, तेरसा, नारायण, नीरज ठाकुर, जुलियास, सीमा, रौशन कुमार सहित दर्जनों कार्यकर्ता मौजूद थे l