ग्रुप लोन के नाम पर फर्जीवाड़ा,महिलाओं से लाखों की ठगी

ग्रुप लोन के नाम पर फर्जीवाड़ा,महिलाओं से लाखों की ठगी

रिपोर्ट: ब्रजेश राठौर

पंजवारा/बांका।

पंजवारा पंचायत के माराटीकर गांव के भोले-भाले ग्रामीणों एवं महिलाओं के साथ ग्रुप लोन के नाम पर फर्जीवाडा करने का मामला सामने आया है. यह मामला तब प्रकाश में आया जब लोन देने वाली फाइनान्स कंपनी के कर्मी इंस्टॉलमेंट के कलेक्शन के लिए मंगलवार को गांव पहुंचे. जानकारी के मुताबिक माराटीकर का एक सीएसीपी संचालक करीब 80 

महिलाओं के नाम पर लोन उठाकर फरार हो गया है. इस फर्जीवाड़े में लगभग ₹50 लाख के हेरफेर की बात बताई जा रही है. फाइनेंस कंपनी भारत फाइनेंशियल इंक्लूजन गोड्डा के ब्रांच मैनेजर जितेंद्र कुमार के अनुसार इस मामले में लगभग 50 लाख रुपए के राशि का हेरफेर किया गया है. पूरी जांच किए जाने के बाद यह राशि और बड़ी हो सकती है.

फर्जीवाड़े को अंजाम देने के लिए इस घटना के मास्टरमाइंड सीएसपी संचालक विकास कापरी द्वारा सुनियोजित तरीका अपनाया गया. भारत फाइनेंसियल इंक्लूजन कंपनी द्वारा माराटीकर के जितनी भी महिलाओं को लोन दिया गया था, उन सभी का खाता सीएसपी संचालक विकास कापरी द्वारा अपने ही केंद्र में खुलवाया गया था.

जहां सभी महिलाएं अपने खाते में पैसों की जमा निकासी के लिए अक्सर आया करती थी. इसी का फायदा उठाते हुए मास्टरमाइंड विकास ने उन महिलाओं के खाते से लोन की राशि कब निकाल ली उन्हें पता भी नहीं चला. मास्टरमाइंड ने अपने जाल में अधिकतर अनपढ़ और गरीब महिलाओं को ही फांसा है. स्थानीय लोगों के मुताबिक इस फर्जीवाड़े में कंपनी के कर्मी की भूमिका भी संदिग्ध बताई जा रही है; क्योंकि फाइनेंस कंपनियों की नियमों के मुताबिक जिस किसी को भी लोन दिया जाता है, तो उनके घर का स्पॉट वेरिफिकेशन किया जाना अनिवार्य है.

साथ ही लाभुक महिलाओं को कंपनी द्वारा मुख्य कार्यालय में बुलाकर उन्हें लोन के संबंध में आवश्यक जानकारी भी दिया जाना जरूरी है. जबकि फर्जीवाड़े का शिकार हुई महिलाओं का कहना है कि उन्हें ना तो उनके घर कंपनी के कोई कर्मी निरीक्षण के लिए आए,ना ही वह लोग कभी कंपनी के कार्यालय में गए.

इसके बावजूद उनके नाम पर लोन की राशि जारी हो गई और उन्हें इसकी जानकारी भी नहीं मिल पाई. ऐसे में स्थानीय लोगों का आरोप है कि मास्टरमाइंड विकास कापरी और कंपनी के कर्मी द्वारा मिलजुलकर इस फर्जीवाड़े को अंजाम दिया गया है. वहीं, फर्जीवाड़े का मुख्य आरोपी तीन-चार दिनों से अपने घर में ताला लगाकर सपरिवार घर से फरार है और ग्रामीण उसे ढूंढ रहे हैं. वहीं इसको लेकर 

भारत फाइनेंसियल इंक्लूजन प्राइवेट लिमिटेड गोड्डा के ब्रांच मैनेजर राजेश कुमार का कहना है कि महिलाओं के लोन की राशि निकाल कर एक सीएसपी संचालक द्वारा फर्जीवाड़ा किया गया है. फर्जीवाड़े के रकम की सही आकलन को लेकर कंपनी द्वारा आंतरिक जांच की जा रही है लोन देने की प्रक्रिया में सभी नियमों का पालन किया गया था.

अगर इसमें कंपनी के कर्मी की कोई चूक सामने आती है, तो उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी. ठगी का शिकार हुई महिलाएं बुधवार को पंजवारा थाना पहुंची और सीएसपी संचालक सहित इसमें संलिप्त अन्य लोगों पर कार्यवाही की मांग की वहीं इस पर थानाध्यक्ष ने बताया कि मामले की तहकीकात की जा रही है.

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